होटल में सेक्स

लड़की को होटल में ले जा कर चुदाई करने की सेक्स स्टोरी

Ladki ko Hotel me le ja kar choot chudai ki hindi sex story.

Hindi sex story of sex with a girl or woman in hotel

ख्वाहिश पूरी की

दोस्तो, मैं अर्पित सिंह एक बार फिर से अपनी अधूरी प्रेम कहानी की आगे की दास्ताँ ले कर हाज़िर हुआ हूँ। मेरी पिछली कहानियों एक दूसरे में समाये-1 एक दूसरे में समाये-2 एक दूसरे में समाये-3 एवं बेइन्तिहा मुहब्बत को आप सब का इतना प्यार मिला उसका मैं बहुत आभारी हूँ लेकिन आपका गुनहगार भी […]

चालू छोकरी की चुदाई की दास्तान

उसके साँवले गोल-गोल चूतड़ एकदम दमक रहे थे। जब मैंने उसकी गांड को दो उँगलियों से फैलाई, तब मैंने एक काला सा मल-द्वार देखा और फिर अंदर गुलाबी छिद्र था।

हरिद्वार के सफ़र का हमसफ़र

वो मेरे साथ खुद घुलमिल गई। अचानक हम दोनों के हाथ एक दूसरे के हाथ में आ गए और हमने चाहते हुए भी अलग नहीं किये। मैं उसके करीब चिपक कर बैठ गया।

कहीं ले चलो-3

मैं राज ! याद आया दोस्तो, मैं आपका शुक्रगुजार हूँ अपने उन दोस्तो का जिन्होंने मेरी कहानी पढ़ी और पसन्द की। अब नील की शादी हो गई थी। जब नील शादी के बाद नील का मेरे पास फ़ोन आया ! नील- हेलो ! पहचाना मुझे? मैं- ओ ई सी… हाय नील ! कैसी हो और […]

मैं कोई काम मुफ़्त में नहीं करता

हम होटल में गये, उसने एक रूम लिया, हम रूम में गये और फिर उसने अपनी साड़ी उतार दी, मुझे अपने पास बुलाया और बाहों में लेकर मुझे चूमने लगी.

ग्वालियर की मैडम की चूत

मैं फ़टाफ़ट उसकी टाँगें फ़ैला कर बीच में बैठ गया और उसकी चिकनी मक्खन चूत, लग रहा था कि उसने आज ही बालों को साफ़ किया था। चूत के मुखद्वार पर मैंने अपने लण्ड महाराज को टिकाया तो कोमल पागलों की तरह सिसकारियाँ लेने लगी और अपने बालों को नोचने लगी।

दोस्त की गर्लफ्रेंड को नंगी करके चोदा

एक शाम मैंने हॉस्टल के एक कोने में एक लडके लड़की को चूमा चाटी करते देखा और लड़की को पहचान लिया. अगले दिन मैंने उसे खा कि किसी को नही बताऊंगा पर...

औरत की चाहत-2

उसने मेरा सिर पकड़ कर अपनी तरफ़ खींचा और मेरे मुँह और होंठों पर लगे अपनी चूत के रस का आनन्द लेने लई, उसने चाट-चाट के मेरे मुँह को एकदम साफ़ कर दिया।

अनजान शहर में मिली एक अनजानी

उसकी साड़ी का पल्लू नीचे गिरा करा उसके वक्ष पर हाथ फिराने लगा. बहुत ही बड़े स्तन थे उसके, मेरे हाथों में भी नहीं आ रहे थे.

कली से फूल बनूँ

मेरा चक्कर एक सहपाठी रोहित से चल रहा था। वह काफी दिनों से मुझे किसी होटल के कमरे में ले जाना चाहता था। मैं भी जाना तो चाहती थी पर हिम्मत नहीं कर पा रही थी।

मेरे एक चाहने वाले का कारनामा

मैंने अपनी ओर ध्यान दिया तो पाया कि नाईटी के नीचे खिसक जाने से मैं तो ऊपर से लगभग नंगी ही लग रही थी। मेरी गोल-मटोल, गोरी-गोरी चूचियों के सिर्फ निप्पल ही ढके थे बाकी ऊपर का सारा बाहर झाँक रहा था।

दिल्ली की वरजिन गर्ल की चुदाई-1

अन्तरवासना के सभी रीडर्स को प्यार भरा प्रणाम। मैं दिल्ली से स्पर्श हूँ। मेरा लंड सात इंच लम्बा और तीन मोटा है। मैं आज मेरे एक और सेक्स के बारे में बताने जा रहा हूँ। मेरी पिछली कहानी अन्तरवासना पे पब्लिश करके एक हफ़्ता हो गया था और मुझे कहानी के बारे में मेल्स आ […]

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