किरायेदार-7

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मैं सोमवार रात को 10 बजे आया, सुरेखा और दिन की तरह 11 बजे आकर मेरी गोद में नंगी बैठ गई और मुझसे चिपकते हुए बोली- आज तो चोदोगे न?

मैंने निप्पल उमेठते हुए कहा- क्यों नहीं।

सुरेखा से मैंने पूछा- तुम्हारी गांड में भी डाल दूँ? तुम बता रही थीं कि अरुण जब ज्यादा नशे में होते हैं तब वो तुम्हारी गांड भी चोद देते हैं।

सुरेखा बोली- आप का मन है तो मेरी गांड में भी डाल दो ! अरुण तो गांड ज्यादा चोदते हैं चूत कम।

सुरेखा की चूत गीली हो रही थी, मैंने उसे तकिये के ऊपर लेटाया और उसकी चूत में पीछे से लंड डाल दिया और दोनों चूचियाँ अपने हाथों में दबा लीं और चोदने लगा।

उह आह की आवाज़ों से कमरा गूँज रहा था, सुरेखा की चूत में लंड सरपट दौड़ रहा था। सुरेखा को चोदने में मुझे बड़ा मज़ा आ रहा था। कुछ देर बाद मैंने लंड बाहर निकाल लिया और सुरेखा के चूतड़ों को सहलाते हुए बोला- रानी, ऐसे ही लेटी रहो।

उसके बाद मैंने कंडोम लंड पर चढ़ा लिया, सुरेखा की गांड में उंगली घुमाते हुए बोला- रानी, जरा अच्छी तरह टांगें फ़ैला कर चूतड़ ऊपर उठाओ।

सुरेखा समझ गई कि मैं उसकी गांड चोदना चाहता हूँ, उसने अच्छी तरह से अपनी टांगें फ़ैला लीं। मैंने सुरेखा की गांड पर लंड छुला दिया। उह उइ की एक सिसकारी सी उसने भरी, थोड़ी देर में लंड उसकी गांड में घुसने लगा।

“ऊ ओइ ऊ ओऊ मर गई !” की आवाज़ों से सुरेखा मचलने लगी। थोड़ी देर में ही 7 इंची लोड़ा उसकी गांड में था। सुरेखा की गांड चुदनी शुरू हो गई, कभी धीरे, कभी तेज झटकों से उसकी गांड चुद रही थी। 10 मिनट बाद मेरे लंड ने जवाब दे दिया।

सुरेखा उठ गई, उसकी गांड फट चुकी थी और वो मुझसे चिपक कर सो गई। सुबह 6 बजे मेरी नींद खुली तो सुरेखा मेरे बिस्तर पर नहीं थी, बाहर से नहाने की आवाज़ सी आ रही थी। मैंने छुपकर देखना शुरू कर दिया।

सुरेखा अपनी जांघें धो रही थी, उसके स्तन मस्त हिल रहे थे, मैं उसके नग्न स्नान दर्शन का आनंद लेने लगा।

तीन दिन बाद सपना भाभी का फ़ोन मेरे पास चार बजे आया। उन्होंने बताया की रजनी को होटल में धंधा करने के आरोप में पुलिस ने पकड़ लिया है। तुम्हारे पास कोई जुगाड़ हो तो उसे बचा लो।

मेरा दिमाग घूम गया। तभी मेरे दिमाग में लड़कियों के दलाल संजीव का नाम आया, मैंने उसे फ़ोन किया और उसे पूरी बात बताई। संजीव ने कहा- चिंता न करो मैं छुड़वाता हूँ। आधे घंटे बाद फ़ोन करो।

20 मिनट के बाद संजीव का फ़ोन आया, वो बोला- रजनी छूट गई है, आधा घंटे बाद वो मेरे होटल में आ जाएगी। तुम भी इधर आ जाओ।

मेरे ऑफिस से होटल दूर था, मैं एक घंटे में वहां पहुँच गया, संजीव मुझे एक कमरे में ले गया, वहाँ रजनी बैठी हुई थी।

संजीव बोला- घबरा गई थी, अब ठीक है।

मैंने पूछा- क्या बात हो गई थी?

रजनी बोली- होटल में पुलिस ने मुझे गलती से पकड़ लिया।

संजीव बोला- रजनी, अब तुम झूठ मत बोलो, मैं लड़कियाँ सप्लाई करता हूँ और इस धंधे में मुझे सच के आगे का भी पता है। इसलिए तुम अपने मुँह से सब सच सच बताओ। राकेश हमारे बहुत बड़े क्लाइंट है हर महीने 30-40 लड़कियां इनकी कम्पनी को सप्लाई होती हैं। आज तुम इनके ही कारण बची हो।

रजनी बोली- मैं हफ्ते में 1-2 बार धंधा कर लेती थी। मेरे होटल में 8-10 लड़कियाँ रोज़ सेक्स के लिए सप्लाई होती हैं, होटल मालिक जब बाहर होता था तो मैं भी 5000 -7000 रु में ग्राहक पटा लेती थी और उसके साथ सो जाती थी। आज सिर्फ दो लड़कियाँ धंधे पर आइ थीं और आज मालिक भी नहीं था। मैं संजय नाम के ग्राहक के साथ सेक्स कर रही थी, पुलिस ने रेड डाली और दो लड़कियों के साथ साथ मुझे भी पकड़ लिया।

संजीव बोला- पुलिस ने जब इसे पकड़ा तब ये पूरी नंगी थी और संजय का लंड इसकी चूत चोद रहा था।

तभी कॉफी लेकर वेटर आ गया, उसने हम तीनों को कॉफी दे दी और वो चला गया। रजनी झेंपी सी बैठी हुई थी।

संजीव बोला- इसके आगे का सच मैं बताता हूँ। रजनी 6 महीने से इस होटल में फ़ूड मैनेजर का काम कर रही है। होटल में एक कॉल गर्ल कम्पनी का कॉन्ट्रैक्ट है, वो रोज़ 8-10 लड़कियाँ सप्लाई करती है। पहले महीने में ही इसकी कॉल गर्ल्स से दोस्ती हो गई। उसके बाद रजनी भी अपनी मर्जी से महीने में 2-3 धंधे पर जाने लगी, एक रात के 5000 -7000 रु मिलने लगे। 3 महीने तक कोई दिक्कत नहीं थी। 3 महीने के बाद हर शनिवार और इतवार को यह धंधे पर बैठने लगी और महीने में 12-15 बार चुदने लगी। कम्पनी के सुपरवाइजर ने इससे कहा कि हमारी कम्पनी ज्वाइन कर लो। महीने के 50000 रु मिलेंगे लेकिन महीने में 20 दिन कम्पनी जहाँ कहेगी वहाँ जाना पड़ेगा, इसने मना कर दिया और उसके बाद भी यह धंधे पर लगी रही।

रजनी बोली- मुझसे तो यह बात राजू वेटर ने कही थी, उसकी तो कोई जरा भी इज्ज़त नहीं करता है सब उसे पागल कहते हैं।

संजीव हँसते हुए बोला- धंधे करने वाली लड़कियों को ये बात पता नहीं होती और जिसे तुम होटल मालिक कह रही हो वो होटल मैनेजर है, उसे सिर्फ होटल का काम देखना है, वो 10 से 5 अपनी नौकरी करता है और शनिवार, रविवार को छुट्टी रखता है। आज होटल मैं कम्पनी ने जान बूझ कर सिर्फ दो लड़कियाँ भेजी थीं, कम्पनी को उन्हें फ़साना था, दोनों ने निजी ग्राहक बना लिए थे साथ ही साथ तुम्हें भी फंसवाना था। संजय ने जब तुम्हें 10000 रुपए ऑफर किए तब तुम आसानी से फंस गईं। दोनों अब सर्टिफाइड रंडियां हो जाएंगी, उसके बाद कम्पनी उनकी जमानत लेगी और उन्हें दुबारा धंधे पर लगा देगी।

संजीव ने बताया कि कम्पनी अगले दिन सुबह-सुबह ही इन लड़कियों की जमानत ले लेगी किसी को पता भी नहीं चलेगा कि ये धंधा करते पकड़ी गईं हैं। उसके बाद कम्पनी इन्हें अपनी शर्तों पर ज़बरदस्ती धंधे पे लगा देगी और शुरू शुरू में ये रोज़ 3 से 4 बार चुदवाई जाएँगी इस तरह फंसी हुई लड़कियों को 1000 से 3000 रुपए एक चुदाई के मिलते हैं जबकि ग्राहकों से 5 से 20 हज़ार तक लिए जाते हैं। संजय भी कम्पनी का गुंडा है। गनीमत है तुम बच गईं। अगर धंधा करना है तो कोई कॉल गर्ल कम्पनी ज्वाइन कर लो नहीं तो आराम से नौकरी करो और बॉय फ्रेंड बनाकर उनसे चुदो।

रजनी ने अपने कान पकड़े और बोली- मैं तोबा करती हूँ।

इसके बाद मैंने रजनी से कहा- आओ चलते हैं। भाभी से बस यह कहना कि पुलिस को ग़लतफहमी हो गई थी, उसने मुझे छोड़ दिया।

बाइक पर रजनी चिपक कर बैठ गई उसने मुझसे अपने पुराने बर्ताव की माफ़ी मांगी और बोली- अगर आज मैं जेल चली जाती तो सर्टिफाइड रंडी बन जाती। मेरे जीजाजी मुझे चोदते थे इसलिए मुझे चुदने की आदत पड़ गई थी यहाँ चुदाई देखकर मैं चुदवाने लगी थी। महीने में मुझे 60-70 हज़ार की कमाई हो रही थी। बाल बाल बच गई नहीं तो परमानेंट रंडी बन जाती।

आधे घंटे में हम घर पहुँच गए। भाभी हम दोनों को देखकर बोलीं- रजनी क्या हो गया था? तेरे होटल से फोन आया था, तीन लड़कियाँ धंधा करते हुए पकड़ी गई हैं, उनमें तू भी है।

राकेश बीच मैं बोल पड़ा- एसा कुछ नहीं था, होटल में दो लड़कियाँ पकड़ी गईं थी, यह बहुत घबरा गई थी इसलिए वहाँ से भाग गई थी और फोन ऑफ कर दिया था। हम दोनों कॉफी पीते हुए आ रहे हैं, सब ठीक है।

अंदर आकर रजनी अपने कमरे में चली गई और मैं अपने कमरे में चला गया।

कहानी जारी रहेगी।

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